सुपरटेक बिल्डर द्वारा धोखाधड़ी करके पांच बार दुकान नंबर बदला, 10 साल से खरीददार परेशान पुलिस में एफ आई आर दर्ज

सुपरटेक बिल्डर द्वारा धोखाधड़ी करके पांच बार दुकान नंबर बदला, 10 साल से खरीददार परेशान पुलिस में एफ आई आर दर्ज

ग्रेटर नोएडा वेस्ट सुपरटेक इकोविलेज वन मैं कमर्शियल काम्प्लेक्स इको बाजार वन में दुकान बुक कराए एक खरीदार पीड़ित किशोर कुमार ने बताया कि पिछले 10 साल से सुपरटेक बिल्डर द्वारा परेशान किया जा रहा है कभी बिल्डर के दफ्तर, कोर्ट कचहरी, थाने के चक्कर लगा रहा हु सुपरटेक बिल्डर द्वारा मेरी बुक कराई हुई दुकान को लगभग पांच बार अपने आप चेंज किया गया उसके बाद मुझे वह दुकान दी गई जिसका नक्शा ही पास नहीं हुआ था

हमने काफी विरोध किया और उसके बाद पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराईकिशोर कुमार ने बताया मैंने जो दुकान बुक की थी वह यूनिट नं० GF 31A दिनांक 11-02-2011 को जिसके लिए मैंने बुकिंग राशि का भुगतान भी किया 2,35,112.दिनांक 15-02-2011उसके बाद मुझे भुगतान मांग पत्र 21.12.2.2012 को मिला जिसकी पेमेंट 6,16,734.00 दिनांक 26-12-2012 को कर दी, उसके बाद सुपरटेक बिल्डर ने लालच वश अपने आप शॉप यूनिट नं० GF 31A को यूनिट न० GF 29A में बदल दिया 13-03-2013 को आवंटन पत्र जारी कियादुकान की बुकिंग के समय सुपरटेक बिल्डर ने मुझे वचन दिया कि मैं दुकान तीन साल के भीतर 31A का कब्जा 2013 तक देगा वही 29A, के एग्रीमेंट में मुझे दुकान जून 2016 में देने के लिए लिखा, बिल्डर ने 2013 के कब्जे के समय की अपनी प्रतिबद्धता को विफल / तोड़ दिया और तीन साल और बढ़ा दिया, बुकिंग से अब तक लगभग पांच बार मेरी दुकान को अपने आप दुकान नंबर बदला गया और अभी तक आज 10 साल हो गए हैं हमें कभी रेरा कभी कोर्ट कभी पुलिस के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं लेकिन हमें दुकान सुपरटेक द्वारा नहीं मिली है

उसके बाद भी सुपरटेक की नीयत में खोट आ गयी दुकान का कब्जा देने के बजाय नं० GF 29A उन्होंने अक्टूबर 2016 को एक पत्र भेजा था जिसमें उन्होंने उल्लेख किया था कि कुछ तकनीकी मुद्दों के कारण दुकान बदली गई है और एक लेआउट योजना भी भेजी है जिसमें दुकान नं० GF09 कॉर्नर टू साइड ओपन और रोड फेसिंग शॉप है आप वह ले लो, सुपरटेक द्वारा बार-बार किए गए परिवर्तनों ने मुझे उन पर संदेह करना शुरू कर दिया और मैंने उनके कार्यालय का दौरा किया और पाया कि उन्होंने दुकान नं के भौतिक स्थान को स्थानांतरित कर दिया है, GF 09 और दुकान का आकार भी कम कर दिया था।प्राधिकरण ने लेआउट योजना को मंजूरी दी, मैंने पाया कि दुकान नं० GF 33A मौजूद नहीं है, लेकिन मेरी मूल रूप से बुक की गई दुकान नं० 31ए था।

मैंने पुलिस स्टेशन शकरपुर, दिल्ली और यूपी रेरा में मामला दर्ज किया, जहां मैंने केवल अपनी बुक की गई दुकान 31 ए की मांग की, लेकिन कोर्ट द्वारा आदेश जारी किया गया कि सुपरटेक को दुकान देनी है या पैसे वापस करने हैं हमने कोर्ट से दरख्वास्त की है कि हमे दुकान ही चाहिए, एफआईआर अभी भी लंबित है।

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